वसंत कबीर की साखियाँ - Worksheets
CBSE Worksheet 01
कबीर की साखियाँ
कबीर की साखियाँ
- 'कबीर की साखियाँ' में कवि का मन कितनी दशाओं में घूमता रहता है?
- साधु से क्या पूछना चाहिए और क्या नहीं? (कबीर की साखियाँ)
- कबीर ने किसकी निंदा न करने की सलाह दी है? (कबीर की साखियाँ)
- साधु की जाति न पूछने की बात कहकर कवि सामाजिक कुरीति को दूर करने का प्रयास करता है। स्पष्ट कीजिए।
- मनुष्य का स्वभाव शांत व निर्मल क्यों होना चाहिए? (कबीर की साखियाँ)
- क्या अपशब्द का जवाब अपशब्द से देना ठीक है? यदि नहीं तो क्यों?
- 'तलवार का महत्त्व होता है म्यान का नहीं' - उक्त उदाहरण से कबीर क्या कहना चाहते हैं?
- निम्नलिखित काव्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिये:-
आवत जारी एक है,उलटत होड़ अनेक।
कह 'कबीर' नहिं उलटिए, वही एक की एक।।- कबीर ने गाली के बारे में क्या कहा है?
- हमें गाली के बारे में क्या दृष्टिकोण अपनाना चाहिए?
- 'गारी' शब्द कैसा है?
- 'कह कबीर' में कौन-सा अलंकार है?
- इस कविता का नाम क्या है?
CBSE Worksheet 01
कबीर की साखियाँ
कबीर की साखियाँ
Answers
- 'कबीर की साखियाँ' में कवि कामन दसों दशाओं में घूमता रहता है।
- साधु से ज्ञान की बात पूछनी चाहिए, उसकी जाति नहीं।
- कबीर ने घास की निंदा न करने की शिक्षा दी है।
- कवि लोगों से कहता है कि वे साधु से उसकी जाति न पूछकर ज्ञान की बातें पूछ लें अर्थात् वे जाति को महत्त्व न देकर ज्ञान को महत्त्व दें। समाज में जातिगत आधार पर भेदभाव किया जाता है, कवि ने इस भेदभाव को दूर करने का प्रयास किया है।
- कवि का मानना है कि मनुष्य का स्वभाव शांत व निर्मल होना चाहिए क्योंकि शांत व निर्मल स्वभाव वालों का संसार में कोई शत्रु नहीं होता। सभी उन पर कृपा भाव बनाए रखते हैं।
- हमें अपशब्द का ज़वाब कभी भी अपशब्द से नहीं देना चाहिए क्योंकि पलटकर अपशब्द का ज़वाब देने पर वह एक से अनेक हो जाता है। इस प्रकार अपशब्दों (गालियों) का सिलसिला रुकने की बजाय बढ़ता ही जाता है।
- 'तलवार का महत्व होता है म्यान का नहीं इस उदाहरण से कबीर कहना चाहते हैं कि महत्व सदा मुख्य वस्तु का होता है जैसे हम तलवार लेना चाहें तो उसकी धार देखकर उसका मोल भाव करेंगे उसका म्यान कितना भी सुंदर क्यों न हो उसकी ओर हम ध्यान नहीं देते। ठीक वैसे ही जैसे साधु-संतों के ज्ञान की महत्ता होती है उनकी जाति से किसी को कोई सरोकार नहीं होता।
- कबीर ने कहा है की यदि कोई व्यक्ति एक गाली तो दूसरा कोई गाली देकर उसका उत्तर देता है। इस प्रकार गालियों का सिलसिला चल पड़ता है।
- हमें गाली का कोई उत्तर नहीं देनी चाहिए। इससे वह एक ही गाली रह जाती है।
- 'गारी' शब्द देशज जैसा है।
- 'कह कबीर' में अनुप्रास अलंकार है।
- इस कविता का नाम कबीर की साखियाँ है।