साँवले सपनों की याद - प्रश्नोत्तर

CBSE class-09 Hindi-A
साँवले सपनों की याद
महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर

गद्यांश आधारित प्रश्न (5 अंक)
इस हुजूम में आगे-आगे चल रहे हैं, सालिम अली। अपने कंधें पर सैलानियो की तरह अपने अंतहीन सफर को बोझ उठाए। लेकिन यह सफर पिछले तमाम सफरों से भिन्न है। भीड़-भाड़ की जिंदगी और तनाव के माहौल से सालिम अली का यह आखिरी पलायन है। अब तो वेा उस वन-पक्षी की तरह प्रकृति में विलीन हो रहे हैं, जो जिंदगी को आखिरी गीत गाने के बाद मौत की गोद में जा बसा हो। कोई अपने जिस्म की हरारत और दिल की धड़कन देकर भी उसे लौटाना चाहे तो वह पक्षी अपने सपनों के गीत दोबारा कैसे गा सकेगा। उपर्युक्त गद्यांश के आधार पर सही विकल्पों का चयन कीजिए-
(i) अंतहीन सफर का आशय है
  1. बहुत लम्बी यात्रा
  2. मृत्यु के उपरांत अंतिम यात्रा
  3. जंगलों मेंभटक जाना
  4. हुजूम में आगे चलना
उत्तर- ख. मृत्यु के उपरांत अंतिम यात्रा
(ii) सालिम अली का यह आखिरी पलायन कैसे था?
  1. अपना काम छोड़ रहे थे
  2. अपना दफ्ऱतर छोड़ के भाग रहे थे
  3. विदेश जाकर बस रहे थे
  4. मौत के आगोश में चले गए।
उत्तर- घ. मौत के आगोश में चले गए।
(iii) सालिम किस वन पक्षी की तरह थे
  1. जो बंधनों में रह कर गीत गाता है।
  2. जो पानी में खेलता है।
  3. जो मुक्त प्रकृति में गीत गाता है।
  4. जो आकाश में ऊँचा उड़ता है।
उत्तर- ग. जो मुक्त प्रकृति में गीत गाता है।
(iv) प्रकृति से सालिम अली का संबंध कैसा था?
  1. प्रकृति उनके लिए उपयोग की वस्तु थी
  2. वे प्रकृति पर विजय पाना चाहते थे
  3. वे प्रकृति का दोहन कर सफल होना चाहते थे
  4. वे प्रकृति का आत्मीय हिस्सा बन कर रहते थे
उत्तर- घ. वे प्रकृति का आत्मीय हिस्सा बन कर रहते थे
(v) ‘सपनों के गीत गाना’ का तात्पर्य है
  1. अपना पंसदीदा कार्य करना
  2. नींद में गाने गाना
  3. गाने में सपनों का वर्णन करना
  4. झूठीं बाते करना
उत्तर- क. अपना पंसदीदा कार्य करना
2. नैसर्गिक जिंदगी का प्रतिरूप बन गये थे। सालिम अली प्रकृति की दुनिया में एक टापू बनने की बजाए अथाह सागर बनकर उभरे थे। जो लोग उनके भ्रमणशील स्वभाव और उनकी यायावरी से परिचित हैं, उन्हें महसूस होता है कि वो आज भी पक्षियों के सुराग में ही निकले हैं, और बस अभी गले में लंबी दूरबीन लटकाए अपने खोजपूर्ण नतीजों के साथ लौट आएगे। जब तक वो नहीं लौटते, क्या उन्हें गया हुआ मान लिया जाए! मेरी आखें नम हैं, सालिम अली, तुम लौटोगे ना!
(i) नैसर्गिक जिंदगी के प्रतिरूप का आशय है
  1. पक्षियों से प्रेम
  2. पक्षियों से गहरा लगाव रखने वाले
  3. सबसे मिलजुलकर रहनेवाले
  4. भ्रमण प्रेमी
उत्तर- क. पक्षियों से प्रेम
(ii) सालिम अली प्रकृति की दुनिया में एक टापू बनने की बजाए अथाह सागर बनकर उभरे थे। इस कथन द्वारा लेखक क्या कहना चाहते हैं
  1. वे सदा अपनी अलग दुनिया बसाते रहे।
  2. वे समुद्र यात्रा करते रहे।
  3. वे सदा प्रकति से निकट संबंध बनाये रहे।
  4. उपरोक्त में से कोई नही
उत्तर- ग. वे सदा प्रकति से निकट संबंध बनाये रहे।
(iii) भ्रमणशील स्वभाव और यायावरी का आशय किससे है
  1. तलाशने ख. घूमने फिरने ग. यात्रा करने
  2. उपरोक्त में से कोई नही
उत्तर- ख. घूमने फिरने
(iv) सालिम अली किसकी खोज करते रहे
  1. गौरया की
  2. दुर्लभ पक्षियों की
  3. मोर की
  4. हाथियों की
उत्तर- ख. दुर्लभ पक्षियों की
(v) इस गद्यांश के पाठ के लेखक हैं
  1. महादेवी वर्मा
  2. प्रेमचंद
  3. जाकिर हुसैन
  4. जाबिर हुसैन
उत्तर- घ. जाबिर हुसैन
गद्य पाठ पर आधारित लघुउत्तरीय प्रश्न (2×5 अंक)
1. किस घटना ने सालिम अली के जीवन की दिशा को बदल दिया और उन्हें पक्षी प्रेमी बना दिया?
उत्तर- बचपन के दिनों में, उनकी एयरगन से घायल होकर गिरने वाली नीलेकंठ की वह गौरैया सारी जिंदगी उन्हें खोज के नए-नए रास्तों की तरफ ले जाती रही। इस घटना ने सालिम अली के जीवन की दिशा को बदल दिया और उन्हें पक्षी प्रेमी बना दिया।
2. सालिम अली ने पूर्व प्रधानमंत्री के सामने पर्यावरण से संबंधित किन संभावित खतरों का चित्र खींचा होगा कि जिससे उनकी आँखें नम हो गई थीं?
उत्तर- सालिम अली ने उन्हे बताया होगा कि पर्यावरण में आ रहे बदलाव के कारण अनेक पक्षी लुप्त होने के कगार पर है। भविष्य में हम इनमें से अनेक दुर्लभ पक्षियों को देख नही सकेंगे। गाँव की खेती भी इससे प्रभावित होगी। यह सुनकर चौधरी चरण सिंह के आँखों में पानी आ गया होगा।
3. लॉरेंस की पत्नी फीडा ने ऐसा क्यों कहा होगा कि मेरी छत पर बैठने वाली गोरैया लॉरेंस के बारे में ढेर सारी बातें जानती है?
उत्तर- लॉरेंस की पत्नी ने ऐसा इसलिए कहा होगा क्योंकि लॉरेंस प्रकृति प्रेमी थे और प्रकृति को सजीव मानकर उनसे सीधे जुड़े होंगे। वे अकसर पक्षियों की दुनिया में जाकर उनका अवलोकन करते होंगे।
4. आशय स्पष्ट कीजिए-
कोई अपने जिस्म की हरारत और दिल की धड़कन देकर भी उसे लौटाना चाहे तो वह पक्षी अपने सपनों के गीत दोबारा कैसे गा सकेगा!

उत्तर- इसका आशय यह है कि सालिम अली पक्षियों की दुनिया छोड़कर जा चुके है। उनका निधन हो चुका है इसलिए कोई उन्हे शरीर की गर्मी और धड़कन देकर जावित करना चाहे तो यह असभंव है।
5. सालिम अली और डी. एच. लॉरेंस में क्या समानता थी?
उत्तर- सालिम अली पक्षी विज्ञानी थे और डी एच लॉरेंस कवि और उपन्यासकार थे। वे दोनों प्रकृति प्रेमी थे। उनका प्रकृति से गहरा लगाव तथा संबंध था। दोनों प्रकृति की सुृरक्षा करके मानव जीवन को बचाना चाहते थे। दोनों को पक्षियो से लगाव था तथा वे उनको लुप्त होने से बचाना चाहते थे।