दो बैलों की कथा - प्रश्नोत्तर
पूरक पुस्तक : कृतिका भाग 1
महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर
दो बैलों की कथा
महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर
दो बैलों की कथा
गद्यांश आधारित प्रश्न (5 अंक)
- कुत्ता भी बहुत गरीब जानवर है, लेकिन कभी-कभी उसे भी क्रोध आ ही जाता है किंतु गधे को कभी क्रोध करते नहीं सुना, न देखा। जितना चाहो गरीब को मारो, चाहे जैसी खराब, सड़ी हुई घास सामने डाल दो, उसके चेहरे पर कभी असंतोष की छाया भी न दिखाई देगी। वैशाख में चाहे एकाध बार कुलेल कर लेता हो पर हमने तो उसे कभी खुश होते नहीं देखा। उसके चेहरे पर एक विषाद स्थायी रूप से छाया रहता है। सुख-दुख, हानि-लाभ, किसी भी दशा में उसे बदलते नहीं देखा। ऋषियों-मुनियों के जितने गुण हैं वे सभी उसमें पराकाष्ठा को पहुच गए हैं पर आदमी उसे बेवकूफ कहता है। सद्गुणों का इतना अनादर कहीं नहीं देखा।1. कुत्ते को गरीब जानवर कहा गया क्योंकि
क. वह बहुतकामजोर प्राणी है।
ख. वह बहुत निर्धन पशु है।
ग. वह दया का पात्र है।
घ. उपरोक्त सभी
उत्तर- ग. वह दया का पात्र है।2. गधे क्या नहीं करते?
क. चुपचाप मार खाना
ख. असंतोष प्रकट करना
ग. खुश होना
घ. जो मिले उसे खा लेना
उत्तर- ख. असंतोष प्रकट करना3. किसके चेहरे पर सदा उदासी छाई रहती है?
क. कुत्ता
ख. बैल
ग. सांड
घ. गधा
उत्तर- घ. गधा4. सुख-दुख, हानि-लाभ में कौन नहीं बदलते?
क. ऋषि मुनि
ख. साधु
ग. गधे
घ. उपरोक्त सभी
उत्तर- घ. उपरोक्त सभी5. सुख दुख में कौन सा समास है
क. बहुव्रीहि
ख. द्विगु
ग. द्वंद्व
घ. अव्ययीभाव समास
उत्तर- ग. द्वंद्व - झूरी काछी के दोनों बैलों के नाम थे हीरा और मोती। दोनों पछाइ जाति के थे-देखने में सुंदर, काम में चौकस, डील में ऊँचे। बहुत दिनों साथ रहते-रहते दोनों में भाईचारा हो गया था। दोनों आमने-सामने या आस-पास बैठे हुए एक-दूसरे से मूक-भाषा में विचार-विनिमय करते थे। एक, दूसरे के मन की बात कैसे समझ जाता था, हम नहीं कह सकते। अवश्य ही उनमें कोई ऐसी गुप्त शक्ति थी, जिससे जीवों में श्रेष्ठता का दावा करने वाला मनुष्य वंचित है। दोनों एक-दूसरे को चाटकर और सूघकर अपना प्रेम प्रकट करते, कभी-कभी दोनों सींग भी मिला लिया करते थे-विग्रह के नाते से नहीं, केवल विनोद के भाव से, आत्मीयता के भाव से, जैसे दोस्तों में घनिष्ठता होते ही धैाल-धप्पा होने लगता है।1. झुरी कौन था?
क. बैलों का मालिक
ख. बैलों का व्यापारी
ग. बैलों का खरीददार
घ. काजीहाऊस का चौकीदार
उत्तर- क. बैलों का मालिक2. हीरा और मोती कैसे थे?
1. दिखने में सुंदर
2. काम में चौकस
3. कद में ऊचे
4. उपरोक्त सभी
उत्तर- 4. उपरोक्त सभी3. हीरा और मोती की वह कौन सी विशेषता है जिससे मनुष्य वंचित है
क. भाईचारे की भावना
ख. विचार विनिमय का गुण
ग. कठोर परिश्रम करणे की शक्ति
घ. एक दूसरे के मन की बात जान लेना
उत्तर- घ. एक दूसरे के मन की बात जान लेना4. बैल अपना प्रेम कैसे प्रकट करते है
क. जुगाली करके
ख. चाटकर
ग. सींग मिलाकर
घ. उपरोक्त सभी
उत्तर- ख. चाटकर5 विग्रह का अर्थ है
क. मजाक
ख. प्रेम
ग. दोस्ती
घ. झगड़ा
उत्तर- घ. झगड़ा - आधी रात से ऊपर जा चुकी थी। दोनों गधे अभी तक खड़े सोच रहे थे कि भागें या न भागें, और मोती अपने मित्रो की रस्सी तोड़ने में लगा हुआ था। जब वह हार गया, तो हीरा ने कहा-तुम जाओ, मुझे यहीं पड़ा रहने दो। शायद कहीं भेंट हो जाए। मोती ने आँखों में आसू लाकर कहा-तुम मुझे इतना स्वार्थी समझते हो, हीरा? हम और तुम इतने दिनों एक साथ रहे हैं। आज तुम विपत्ति में पड़ गए, तो मैं तुम्हें छोड़कर अलग हो जाऊ!। हीरा ने कहा-बहुत मार पड़ेगी। लोग समझ जाएगे, यह तुम्हारी शरारत है। मोती गर्व से बोला-जिस अपराध के लिए तुम्हारे गले में बंधन पड़ा, उसके लिए अगर मुझ पर मार पड़े, तो क्या चिंता! इतना तो हो ही गया कि नौ-दस प्राणियों की जान बच गई। वे सब तो आशीर्वाद देंगे।1. कांजीहौस से गधे क्यों नहीं भागे?
क. वे दीवार टूटने से बेखबर थे।
ख. वे वहाँ सुखी थे।
ग. वे डरते थे।
घ. वे कायर थे।
उत्तर- घ. वे कायर थे।2. रस्सी कौन तोड़ने लगा?
क. हीरा
ख. मोती
ग. गधे
घ. उपरोक्त तीनों
उत्तर- ग. गधे3. मोती हीरा को छोड़कर क्यों नहीं गया?
क. वह कांजीहौस में रहना चाहता था।
ख. उसे हीरा की चिंता थी।
ग. वह मित्र को छोड़कर भागना नहीं चाहता था।
घ. उसे हीरा ने मना किया था।
उत्तर- घ. उसे हीरा ने मना किया था।4. मोती ने ऐसा क्यों कहा- जिस अपराध के लिए तुम्हारे गले में बंधन पड़ा, उसके लिए अगर मुझ पर मार पड़े, तो क्या चिंता! इतना तो हो ही गया कि नौ-दस प्राणियों की जान बच गई। वे सब तो आशीर्वाद देंगे।
क. उसे परवाह नहीं थी।
ख. वह मार खाने से नही डरता था।
ग. उसने हार मां लिया था।
घ. वह दूसरे की आजादी के लिए सब कष्ट सहने को तैयार था।
उत्तर- क. उसे परवाह नहीं थी।5. अपराध में किस उपसर्ग का प्रयोग है?
क. उप
ख. अप
ग. अपर
घ. राध
उत्तर- ख. अप
गद्य पाठ पर आधारित लघुउत्तरीय प्रश्न (2×5 अंक)
- कांजीहौस में कैद पशुओं की हाजिरी क्यों ली जाती होगी?
उत्तर- कांजीहौस में कैद पशुओं की हाजिरी इसलिए ली जाती होगी ताकि कैद पशु की वास्तविक संख्या का पता चल सके और पता लगाया जा सके कि उनमें से कोई भाग तो नहीं गया या मर तो नहीं गया। - छोटी बच्ची को बैलों के प्रति प्रेम क्यों उमड़ आया?
उत्तर- बैलों के समान छोटी बच्ची भी जुल्म का शिकार थी इसलिए उसके मन में उनके लिए दया उमड़ पड़ी। उसकी सौतेली माता उसके प्रति कठोर बर्ताव करती थी अतः उस कोमल मन की बालिका ने जब गया को हीरा मोती पर अत्याचार करते देखा तो उसका मन पसीज गया। - कहानी में बैलों के माध्यम से कौन-कौन से नीति-विषयक मूल्य उभर कर आए हैं?
उत्तर- -कहानी में बैलों के माध्यम से से निम्नलिखित नीति-विषयक मूल्य उभर कर आए हैं-
(i) विपत्ति के समय हमेशा मित्र की सहायता करना चाहिए।
(ii) अपनी आजादी के लिए हमेशा सजग व संघर्षशील रहना चाहिए।
(iii) किसी की आजादी नही छीनना चाहिए।
(iv) अपने समुदाय के हित के लिए अपने हितों का त्याग करने के लिए तैयार रहना चाहिए।
(v) पशु पक्षियों के प्रति दया का बर्ताव करना चाहिए।
(vi) स्त्रियों व बच्चों के प्रति सम्मानजनक बर्ताव करना चाहिए। - कहानी में प्रेमचंद ने गधे की किन स्वभावगत विशेषताओं के आधार पर उसके प्रति रूढ़ अर्थ ‘मूर्ख’ का प्रयोग न कर किस नए अर्थ की ओर संकेत किया है?
उत्तर- प्रेम चंद ने गधे की सहनशीलता, सीधेपन, कभी क्रोध न करने, हानि-लाभ सुख-दुख में समान रहने, आदि गुणों के आधार पर उसे बेवकूफ के स्थान पर संत स्वभाव का प्राणी करार दिया है जो बहुत अधिक सीधेपन के कारण सम्मान का पात्र नहीं समझा जाता। - किन घटनाओं से पता चलता है कि हीरा और मोती में गहरी दोस्ती थी?
उत्तर- पहली घटना मटर के खेत की थी जब मोती मटर खाने खेत में घुसा और इसी बीच खेत के रखवालों ने उसे घेर लिया। पैर कीचड़ में फँस जाने वह भाग न सका और पकड़ लिया गया। मित्र को मुसीबत में छोड़कर हीरा नहीं भागा और वापस आ गया। उसे भी पकड़ लिया गया।
दूसरी घटना कांजीहौस की थी जब मोती के प्रयासों से कांजीहौस की दीवार टूट गयी और वहाँ कैद पशुओं को आजादी मिल गयी पर हीरा के बंधन न टूटने के कारण मोती उसे छोड़कर नही गया। इस तरह दोनों मित्रों ने मुसीबत में सच्ची मित्रता का परिचय दिया। - ‘लेकिन औरत जात पर सींग चलाना मना है, यह भूल जाते हो।’-हीरा के इस कथन के माध्यम से स्त्री के प्रति प्रेमचंद के दृष्टिकोण को स्पष्ट कीजिए।
उत्तर- प्रेमचंद नारी के प्रति सम्मानजनक व्यवहार के पक्षधर थे। वे उनके विरूद्व हिंसा को अनुचित मानते थे। हमारे देश में प्राचीनकाल नारी को सम्मानीय माना जाता रहा है इसलिए उनपर जुल्म करना या उन्हे कठोर दण्ड देने के खिलाफ थे। - किसान जीवन वाले समाज में पशु और मनुष्य के आपसी संबंधों को कहानी में किस तरह व्यक्त किया गया है?
उत्तर- इस कहानी में बताया गया है कि किसानों का अपने पालतु पशुओं से भावनात्मक संबंध होता है। झूरी अपने बैलों को अपने पुत्रों की भाति स्नेह करता था और उन्हें फूल की छड़ी से भी न छूता था। बैल भी अपने स्वामी के प्रति पूरी निष्ठा रखते है थे और उसके लिए कड़ा परिश्रम करने सदा तैयार थे। - ‘इतना तो हो ही गया कि नौ दस प्राणियों की जान बच गई। वे सब तो आशीर्वाद देंगें’-मोती के इस कथन के आलोक में उसकी विशेषताएँ बताइए।
उत्तर-मोती उग्र व क्राँतिकारी प्रकृति का बैल था। कांजीहौस में उसके प्रयास से वहाँ कैद अन्य पशुओं को आजादी मिल गई किन्तु हीरा के गले में रस्सी पड़ी होने के कारण वे स्वयं आजाद न हो सके। इतना होने पर भी उसे इस बात का संतोष है कि उसके प्रयत्नो से दूसरे जीवों को आजादी मिल गई। मोती के इस कथन से उसके एक निस्वार्थ क्रातिकारी स्वभाव का पता चलता है जिसे लिए स्वयं की आजादी से महत्वपूर्ण है अपनी जाति और समुदाय की मुक्ति। - आशय स्पष्ट कीजिए-
(क) अवश्य ही उनमें कोई ऐसी गुप्त शक्ति थी, जिससे जीवों में श्रेष्ठता का दावा करने वाला मनुष्य वंचित है।(ख) उस एक रोटी से उनकी भूख तो क्या शांत होती पर दोनों के हृदय को मानो भोजन मिल गया।
उत्तर-
(क) मनुष्य स्वयं को सर्वश्रेष्ठ प्राणी कहता है किन्तु उसके पास वह गुप्त शक्ति नही है कि अन्य प्राणियो की तरह दूसरे प्राणी के मन की बात जान ले। मनुष्य विचार विनिमय के लिए भाषा या बोली पर आश्रित है। गाय बैलों की भॉंति वह मूक भाषा में बातचीत नहीं कर सकता।
(ख) छोटी बालिका ने जब जुल्म के शिकार हीरा मोती को एक एक रोटी खिलाया तो उनकी भूख शांत नही हुई पर दोनों के हृदय को इस बात की संतुष्टि मिली कि उस घर में कोई तो है जिसे उनकी परवाह है और जिनके मन में उनके लिए स्नेह है।