ट्रांसफॉर्मर वाइन्डिंग-1

ट्रांसफॉर्मर  वाइन्डिंग

  • ट्रांसफार्मर एक स्थैतिक विद्युत चुम्बकीय युक्ति होती है जिसमें दो या दो से अधिक वाइन्डिंग एक संयुक्त चुम्बकीय क्षेत्र रखती है। वह वाइन्डिंग जो तुलनात्मक रूप से कम वोल्टेज रेटिंग रखती है, निम्न वोल्टेज वाइन्डिंग (Low voltage winding) कहलाती है तथा वह वाइन्डिंग जो तुलनात्मक रूप से ज्यादा वोल्टेज रेटिंग रखती है, उच्च वोल्टेज वाइन्डिंग (High voltage winding) कहलाती है। ये दोनों वाइन्डिंग ट्रांसफार्मर के प्रत्येक लिम्ब (Limb) पर वाउण्ड रहती है, जो कि लीकेज फ्लक्स को कम करती है।
  • निम्न वोल्टेज वाइन्डिंग की स्थिति, कोर के नजदीक अंदर की तरफ तथा उच्च वोल्टेज वाइन्डिंग की स्थिति बाहर की तरफ होती है। इस व्यवस्था का उपयोग निम्न वोल्टेज वाइन्डिंग तथा कोर के मध्य विभवान्तर कम होने के कारण किया जाता है। इस स्थिति में फ़ॉल्ट  उत्पन्न होने की संभावना कम रहती है।
  •    कोर के नजदीक निम्न वोल्टेज वाइन्डिंग की स्थिति में कोर तथा वाइन्डिंग के मध्य कम मोटाई का इन्सुलेशन प्रदान किया जाता है। जब कोर के नजदीक उच्च वोल्टेज वाइन्डिंग को स्थापित किया जाता है तब कोर तथा वाइन्डिंग के मध्य अधिक मोटाई का इन्सुलेशन प्रदान किया जाता है।